शुक्रवार, जुलाई 31, 2009

मुंशी प्रेमचन्द के जन्म दिवस पर गोष्ठी सम्पन्न।

आज 31 जुलाई को
उपन्यास सम्राट मुंशी प्रेमचन्द का 130वाँ जन्म दिन है।

इस अवसर पर राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय, खटीमा के हिन्दी विभागाध्यक्ष डॉ. सिद्धेश्वर सिंह के निवास पर इस उपलक्ष्य में एक गोष्ठी का आयोजन किया गया। जिसकी अध्यक्षता शिक्षाविद् गीताराम बंसल ने की तथा संचालन राजकीय इण्टर कालेज के प्रवक्ता डॉ. गंगाधर राय ने किया।


इस अवसर पर सबसे पहले जाने माने ब्लॉगर डॉ. रूपचन्द्र शास्त्री ने सरस्वती वन्दना का पाठ किया ।


इसके बाद डॉ. सिद्धेश्वर सिंह ने मुंशी प्रेमचन्द के व्यक्तित्व और कृतित्व पर विस्तृत प्रकाश डाला।


अनेक पत्र-पत्रिकाओं में छप चुके राज किशोर सक्सेना राज ने अपनी सशक्त कविता के माध्यम से उपन्यास सम्राट मुंशी प्रेमचन्द को श्रद्धांजलि समर्पित की।

‘‘है अतुल तुम्हारा योगदान, भाषा का रूप सँवारा है।

हे गद्य विघा के प्रेमचन्द्र तुमको शत् नमन हमारा है।।’’


इस अवसर पर रूमानी शायर गुरू सहाय भटनागर ‘बदनाम’ न मुंशी प्रेमचन्द को याद करते हुए अपनी रूमानी कविता का वाचन किया।
संचालन कर रहे डॉ. गंगाधर राय ने उपन्यास सम्राट की कई कहानियों की चर्चा करते हुए गोष्ठी को जीवन्तता प्रदान की।
गोष्ठी में मुख्य अतिथि के रूप में पधारे उद्योगपति पी0एन0सक्सेना ने मुंशी प्रेमचन्द केे साहित्य इस युग में भी प्रासंगिक बताते हुए इस चर्चा को सार्थक बताया।
अन्त में अध्यक्ष पद से बोलते हुए शिक्षाविद् गीताराम बंसल ने मुंशी जी को साहित्य का युगपुरुष बताते हुए गोष्ठी का समापन किया।

11 टिप्‍पणियां:

  1. प्रेम चन्द जी को आज याद करना उनके द्वारा स्थापित मूल्यों का समर्थन करना है .

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  2. आपकी सहृदयता और सक्रियता का कायल हूँ.

    अच्छी और त्वरित रपट!

    आभार ! शुक्रिया !!

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  3. munshiji ki pavan smriti ko pranaam !

    sangoshthi k liye badhaai !

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  4. Mayank ji dhanyavaad.
    bahut achchhi coverage lagaai hai.

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  5. शास्त्री जी!
    इतनी शीध्रता से रपट लगाने के लिए,
    मुबारकवाद।

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  6. गोष्ठी की बहुत अच्छी कवरेज लगाई है।
    बधाई।

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  7. bahut achchi prabhavshali lagi aapki prastuti.sachmuch sarahneey.badhai!

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  8. चट मंगनी पट व्याह वाली स्टाइल में तुरत-फुरत में भी माननीय मुंशी प्रेमचंद जी के १३०वे जन्म-दिन के उपलक्ष्य में आयोजित गोष्ठी का चित्रों के साथ काफी रोचक और प्रसंसनीय रिपोर्ट पेश करने हेतु आपका आभार.

    मुंशी जी के १३०वे जन्म- दिन पर मेरी यह टिपण्णी ही बधाई स्वरुप आपकी गोष्ठी को समर्पित है....

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  9. Premchand ji ko yada karna sukhad laga...achhi report lagai apne.

    फ्रेण्डशिप-डे की शुभकामनायें. "शब्द-शिखर" पर देखें- ये दोस्ती हम नहीं तोडेंगे !!

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  10. aese sahityakaro ki kami ko , kuchh aapke jaise hi kadam utha kar poora kiya jaa sakta hai . ye samman sarahaniye hai ,kaash hum bhi shamil ho paate is adbhut bela pe .hum sirf pathak hi bankar rah jaate hai ,is dharohar ko jeevit rakhane ke liye aesi goshti avam samaroh bhi atyant jaroori hai .premchand ji ko shat-shat naman ,sarahniye karya saadhuwaad .

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  11. mayank ji aapki dairy sachmuch gyanvardhak hai .bahut hi khoobsurati ke saath report taiyaar ki gayi hai .achchha laga aakar .

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